राजस्थानी तीज-त्यूँवार, नेगचार, गीत-नात, पहराण, गहणा-गांठी अर बरत-बडूल्यां री सोवणी सी झांकी है तीज-त्यूँवार...

होई आठैँ इयां माँडी जाय है...


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थारा बिचार अठे मांडो सा ....